वैसे तो मेरा जन्म स्थल आगरा (उत्तर प्रदेश) है पर पिछले बीस साल से में और मेरा परिवार राजस्थान के पूर्वी भाग में स्तिथ एक छोटे से भरतपुर (जिसे बृज क्षेत्र भी कहा जाता है) जिले में रहते है, जो कि उत्तर प्रदेश की सीमा से सटा हुआ है!
जब में यहां आई थी तब मेरी उम्र तक़रीबन (9-10) साल की थी!
ख़ैर प्रत्येक व्यक्ति की अपने शहर से अच्छी बुरी यादें जुड़ी होती है, और हर व्यक्ति के जीवन का हिस्सा बनी रहती है, मेरे लिए भरतपुर वह स्थान है जहां मेने अपने बचपन का अधिकांश समय यहां गुज़रा है, यहां आई थी तब मुझे भी मेरे शहर की अथवा मेरे पुराने घर की याद बेहद सताती थी, समय गुज़रता गया उम्र बढ़ती गयी और मेरा इस नए नवेले शहर से लगाव होता गया,जहां कई नए लोगो से नए रिश्ते भी बने नए मित्र भी बने, और लगाव इस कदर बढ़ गया, कि जब भी कोई नया व्यक्ति मुझसे पूछता की तुम कहाँ की रहने वाली हो तो में आगरा (उत्तर प्रदेश) ना बताकर भरतपुर (राजस्थान) बताने लगी!
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| कल्पना |
मेरे मस्तिष्क से मेरे पुराने शहर की यादें धीरे- धीरे मिट ती जा रही थी! मेरे माता-पिता ने शहर के सबसे बड़े व अच्छे स्कूल में मेरा दाखिला करवाया (सेंट पीटर्स सीनियर सेकेण्डरी स्कूल) जहां मेने अपने बचपन के 10 साल यहां गुज़रे! और समय बीत ता गया और पिछले शहर की यादे मेरे दिल और दिमाग से लगभग मीट ही चुकी थी!
(ख़ैर माफ़ी चाहूंगी) जब में भरतपुर आई थी तब मुझे ये शहर और यहां के लोग सच मे बहुत बुरे लगते थे! किसी से बात करने का मन तक नही करता था, और में पिताजी से सिर्फ़ एक ही सवाल करती थी, "पापा हम आगरा वापिस कब जाएंगे"? और पापा के मुख से सिर्फ़ एक ही उत्तर निकलता था "बेटा अब हम यही रहेंगे"!...
एक समय था जब मैं भरतपुर शहर की बुराई सभी से करती थी, समय गुज़रता गया हम समझदार होते गए और अब हम सिर्फ भरतपुर के होकर रह गए है, जिसकी अब हम बुराई तो क्या किसी के मुख से ग़लत शब्द भी बर्दाश्त नहीं कर सकते है! यह एक ऐसी जगह है जिससे में बेहद प्रेम करती हूँ और अपना सारा जीवन यही व्यतीत करना चाहती हूँ, यह शहर मेरे दिल मे ऐसे बस गया है जैसे देह में सांसे...
ऐसा प्रतीत होता है जैसे इस शहर से सदियों पुराना कोई ख़ास रिश्ता रहा हो जिससे मैं अब तक अनभिज्ञ थी!
और इक अजीब सी कहानी है मेरी, कई जज़्बात दफ़न है इस शहर में, इक कहानी है जो अधूरी रह गयी थी, जिसे फिर से पूरा करना है...
छोटे से शहर से एक छोटी सी लड़की...
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-कल्पना ठाकुर


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